पुण्योदय विद्यापथ

31 वाँ श्रावक संस्कार शिविर

दिनांक - 8 सितम्बर 2024 से 17 सितम्बर 2024 तक

स्थान - भाग्योदय तीर्थ, सागर (मध्यप्रदेश)

मंगल सन्निधि - श्रावक संस्कार शिविर के जनक तीर्थचक्रवर्ती जगतपूज्य निर्यापक श्रमण मुनिपुंगव श्री 108 सुधासागर जी महाराज ससंघ 

शिविर पुण्यार्जक

बांदरी वाला परिवार, स्मार्ट होम्स, सागर

श्री लखमीचंद्र जी कमल कुमार जी-सरोज जी, श्रीमती कुसुम बाई, श्री ऋषभ-श्रीमती ममता जी, श्री प्रदीप जैन-श्रीमती सुधा जी, श्री सुदीप-श्रीमती शीलू जी, श्री कृष्ण बुखारिया जी -शुभांगिनी जी, अरिहंत-प्रियंका, राजेश-महिमा, सिद्धांत-अपूर्वा, पंकज-अनुभूति, विनीता, श्रेय, संचिता, रिधान, अनुयोग, दक्ष, राध्या , धैर्य एवं समस्त बांदरी वाला परिवार

धर्मानुरागी बन्धुवर, सादर जय जिनेन्द्र!

हमारे पुण्योदय से परम पूज्य प्रात: स्मरणीय महाकवि संत शिरोमणि आचार्य गुरुदेव श्री 108 विद्यासागर जी महाराज के आशीर्वाद एवं उनके आज्ञानुवर्ती शिष्य श्रावक संस्कार शिविरों के जनक परम पूज्य तीर्थचक्रवर्ती जगतपूज्य निर्यापक श्रमण मुनिपुंगवश्री 108 सुधासागर जी महाराज का “सुधामय वर्षायोग 2024” महती धर्म प्रभावना के साथ धर्मनगरी सागर के भाग्योदय तीर्थ में स्थापित हुआ है।

भौतिकवादी संस्कार विहीन पाश्चात्य संस्कृति की ओर दौड़ने वाले युग को भारतीय प्राचीन धार्मिक संस्कृति से संस्कारित करने हेतु गुरुकुल परम्परा के आधार पर श्रावक संस्कार शिविर के प्रणेता (जनक) पूज्य मुनिपुंगवश्री ने सर्वप्रथम सन 1991 में ललितपुर वर्षायोग के समय दशलक्षण पर्व को दस दिवसीय शिविर का रूप देकर श्रावकों को ऐसा संस्कारित किया कि आधुनिक भौतिकता की तरफ दौड़ने वाला युवा वर्ग पुन: धर्म को अपने जीवन का अंग मानने लगा। तब से अब तक निरंतर यह शिविर 30 वर्ष पूर्ण करता हुआ, सारे जगत में धर्मसंस्कारों का शंखनाद कर रहा है।

इस वर्ष 2024 में 31वाँ श्रावक संस्कार शिविर विशाल स्तर पर भाग्योदय तीर्थ, सागर (मध्यप्रदेश) में आयोजित होने जा रहा है, जो अपना इतिहास स्वर्णांकित करेगा। आप भी इस अनुकरणीय संस्कार शिविर में प्रवेश लेकर अपना जीवन धन्य करें। इस परम धार्मिक अनुष्ठान में आपकी गरिमामय उपस्थिति सादर प्रार्थनीय है। इस दस दिवसीय ज्ञानगंगा में अवगाहन कर पुण्यार्जन कीजिये।

ऑनलाइन फॉर्म को भरने में आपको कहीं भी कोई असुविधा हो तो हमसे संपर्क कर सकते हैं।

विनीत – श्री विद्या-सुधामृत समिति, सागर

निवेदक – सकल दिगंबर जैन समाज, सागर

शिविर हेल्पलाइन

प्रशांत सानौधा – 9827120320

गौरव जैन – 8319061853

राहुल तौलिया – 9340818849

अंकुश बहोरिया – 9303249390

कलश बुकिंग व दान

सुरेन्द्र जैन सट्टू - 7489009881

राजकुमार मिनी - 8458860032

ऋषभ जैन बांदरी - 8359958889

सुरेन्द्र जैन डबडेरा- 9826293384

आवास व्यवस्था

कपिल जैन - 8109530720

साहिल जैन - 9753340199

विवेक जैन (मिक्की) - 9713692542

स्वप्निल जैन - 9179734595

चौका व्यवस्था

राकेश निश्चय - 9826225691

मनीष बरकोटी - 9303981108

शिविर पंजीयन फॉर्म

*  इस निशान वाले जानकारी को भरना अनिवार्य है।

 नियम व शर्ते पढ़कर ही ऑनलाइन फॉर्म भरे।

 

नियम व शर्ते

  1. शिविर के दौरान सभी शिविरार्थी का पूर्णतः गृह त्याग रहेगा।
  2. शिविर के रजिस्ट्रेशन के लिए आई.डी. प्रूफ संलग्न करना अनिवार्य है एवं शिविर की किट लेते समय आई.डी. प्रूफ की एक फोटोकॉपी जमा करवाना अनिवार्य है ।
  3. शिविर में केवल पंजीकृत पुरुष वर्ग ही नियमित रूप से भाग ले सकते हैं ।
  4. न्यूनतम 15 वर्ष से अधिकतम 60 वर्ष तक पूर्ण स्वस्थ व्यक्ति शिविर हेतु फॉर्म भर सकते है
  5. शिविर में प्रवेश के पूर्व शिवरार्थी को शेविंग व 2 नंबर trimmer द्वारा कटिंग करवाना अनिवार्य है
  6. अस्वस्थ व जिनको गंभीर बीमारी हो वह व्यक्ति अपना मेडिकल सर्टिफिकेट लेकर आए एवं जिनकी दवाई आदि चलती है वह व्यक्ति शिविर संपर्क सूत्र पर चर्चा करके ही आवे
  7. रजिस्ट्रेशन के बाद प्राप्त टोकन के माध्यम से ही शिविरार्थी अपनी किट ले सकते हैं।
  8. शिविरार्थी की किट में शिविर से संबंधित पाठ्क्रम की पुस्तक, कॉपी, पेन, आसन, अमृतधारा, बाम, धोती दुपट्टा इत्यादि सामान होगा।
  9. शिविरार्थी को धनराशि काउन्टर पर जमा करवाकर रसीद लेना अनिवार्य है।
  10. सभी शिविरार्थियों को पंक्तिबद्ध होकर ही ध्यानस्थल तक आना होगा।
  11. शिविरार्थियों को धोती– दुपट्टा, अंतरंग वस्त्र, चटाई के अलावा अन्य सभी वस्त्रों एवं जूता चप्पल आदि का पूर्ण त्याग करना होगा।
  12. शिविरार्थी को स्नान एवं वस्त्रों को साफ करने के लिए साबुन का प्रयोग नही करना है।
  13. शिविरार्थी को चादर, टावल इत्यादि अपने साथ लाना अनिवार्य है।
  14. शिविर के दौरान शिविरार्थी को शेविंग एवं कटिंग कराने की अनुमति नहीं होगी।
  15. शिविर में मोबाईल फोन का उपयोग पूर्णतः वर्जित है।
  16. बाहर से आने वाले अतिरिक्त श्रावक श्राविकायें कक्षा एवं प्रवचन सभा आदि कार्यक्रमों में उपस्थित होकर धर्म लाभ ले सकते हैं।
  17. ध्यान के पश्चात सभी शिविरार्थियों को व्यवस्थित व अनुशासित ढंग से पंक्तिबद्ध होकर पूजा स्थल पर पहुंचना होगा।
  18. कक्षा समाप्त होने के बाद सभी शिविरार्थी को पुनः आवास स्थल तक पहुंचना होगा।
  19. शिविर के दौरान अगर कोई शिविरार्थी शिविर स्थल से अमानती सामान लेकर बाहर जाना चाहता है तो दो व्यक्तियों के हस्ताक्षर अनिवार्य होंगे।
  20. आहार के लिए सभी शिविरार्थी को कार्यक्रम स्थल से, उपलब्ध बसों के द्वारा ही जाना होगा एवं आहार के पश्चात पुनः कार्यक्रम स्थल पर ही लौट कर आना होगा।
  21. शिविरार्थी दिन में केवल एक बार भोजन के अतरिक्त शाम को अल्पहार आदि ले सकते हैं ।
  22. शिविर में निर्धारित नियमानुसार दैनिक चर्या एवं निर्देशों का पालन करना होगा।
  23. शिविर काल में शिविरार्थी परिवार के लोगों से अनावश्यक चर्चा न करें किसी भी प्रकार की अनियमितता पाये जाने पर शिविरार्थी को शिविर से निष्कासित किया जा सकता है।
  24. शिविर में अनुशासन, शांति एवं एकता बनाये रखना अनिवार्य हैं।